نَحْنُ نَقُصُّ عَلَيْكَ نَبَأَهُمْ بِالْحَقِّ ۚ إِنَّهُمْ فِتْيَةٌ آمَنُوا بِرَبِّهِمْ وَزِدْنَاهُمْ هُدًى
फ़ारूक़ ख़ान & अहमद
हम तुन्हें ठीक-ठीक उनका वृत्तान्त सुनाते है। वे कुछ नवयुवक थे जो अपने रब पर ईमान लाए थे, और हमने उन्हें मार्गदर्शन में बढ़ोत्तरी प्रदान की
फ़ारूक़ ख़ान & नदवी
(ऐ रसूल) अब हम उनका हाल तुमसे बिल्कुल ठीक तहक़ीक़ातन (यक़ीन के साथ) बयान करते हैं वह चन्द जवान थे कि अपने (सच्चे) परवरदिगार पर ईमान लाए थे और हम ने उनकी सोच समझ और ज्यादा कर दी है