بَلِ الَّذِينَ كَفَرُوا فِي عِزَّةٍ وَشِقَاقٍ
फ़ारूक़ ख़ान & अहमद
बल्कि जिन्होंने इनकार किया वे गर्व और विरोध में पड़े हुए है
फ़ारूक़ ख़ान & नदवी
मगर ये कुफ्फ़ार (ख्वाहमख्वाह) तकब्बुर और अदावत में (पड़े अंधे हो रहें हैं)
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