إِنَّ الْمُجْرِمِينَ فِي ضَلَالٍ وَسُعُرٍ
फ़ारूक़ ख़ान & अहमद
निस्संदेह, अपराधी लोग गुमराही और दीवानेपन में पड़े हुए है
फ़ारूक़ ख़ान & नदवी
बेशक गुनाहगार लोग गुमराही और दीवानगी में (मुब्तिला) हैं
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